बसपा नेता पिंटू सेंगर पर जानलेवा हमला कर हत्या का प्रयास करने के मामले में फरार चल रहे दोषी पप्पू स्मार्ट ने बुधवार को कोर्ट में समर्पण कर दिया. इसके बाद फास्ट ट्रैक कोर्ट 52 के न्यायाधीश राहुल सिंह ने उसे 10 साल कैद और बीस हजार रुपये जुर्माने की सजा सुनाई. कड़ी सुरक्षा में पप्पू को जेल भेज दिया गया.
आठ साल पहले पनकी मंदिर से लौटते समय बसपा नेता नरेंद्र सिंह उर्फ पिंटू सेंगर पर जानलेवा हमला हुआ था, जिसमें चकेरी स्थित स्मार्ट शूज के मालिक मो. आसिम उर्फ पप्पू स्मार्ट और जाजमऊ निवासी सऊद अख्तर को मंगलवार को फास्ट ट्रैक कोर्ट ने हत्या के प्रयास का दोषी करार दिया था.
कोर्ट ने सऊद को सुना दी थी सजा: सऊद अख्तर तो कोर्ट में हाजिर हो गया था, लेकिन पप्पू स्मार्ट की ओर से हाजिरी माफी प्रार्थना पत्र दिया गया था. कोर्ट ने हाजिरी माफी की अर्जी को खारिज कर दिया था और चार बजे तक पप्पू को हाजिर होने के निर्देश दिए थे, लेकिन पप्पू हाजिर नहीं हुआ. इसके बाद कोर्ट ने सऊद को सजा सुना दी थी और पप्पू के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी कर छह दिन में उसे कोर्ट में हाजिर करने के निर्देश थानाध्यक्ष को दिए थे.
वारंट निरस्त करने के लिए दिया प्रार्थना पत्र: एडीजीसी जितेंद्र कुमार पांडे ने बताया कि बुधवार दोपहर पप्पू स्मार्ट ने कोर्ट में समर्पण कर दिया. वारंट निरस्त करने के लिए प्रार्थना पत्र दिया, जिसे कोर्ट ने स्वीकार कर लिया. इसके बाद सजा पर सुनवाई हुई और कोर्ट ने उसे सजा सुना दी.